१००८ मंत्रों द्वारा अभिमंत्रित energised एक मुखी जागृत रुद्राक्ष
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१००८ मंत्रों द्वारा अभिमंत्रित energised एक मुखी जागृत रुद्राक्ष

१००८ मंत्रों द्वारा अभिमंत्रित energised एक मुखी जागृत रुद्राक्ष

राशि - कर्क-मीन ,स्वामी -गुरु

रुद्राक्ष को भगवान शिव का स्वरूप माना जाता है। रुद्राक्ष कई प्रकार के होते हैं लेकिन इन सभी रुद्राक्षों में एकमुखी रुद्राक्ष को सबसे दुर्लभ माना जाता है, इसका कारण यह है कि यह बहुत कम संख्या में पाया जाता है। माना जाता है कि एकमुखी रुद्राक्ष में साक्षात भगवान शिव का वास होता है। पद्म पुराण के अनुसार, एकमुखी रुद्राक्ष समस्त पापों का नाश करने वाला है। मान्यता है कि इस रुद्राक्ष को धारण करके भगवान शिव का आशीर्वाद मिलता है और व्यक्ति को सत्य का ज्ञान प्राप्त होता है। इसे हमेशा लाल या पीले रंग के धागे में ही धारण करें. रुद्राक्ष बहु पवित्र होता है इसलिए इसे कभी अशुद्ध हाथों से नहीं छूना चाहिए. इसे हमेशा स्नान करने के बाद शुद्ध होकर ही धारण करना चाहिए. रुद्राक्ष धारण करते समय शिव जी के मंत्र ऊं नमः शिवाय का उच्चारण करना चाहिए lमांसाहार करने से रुद्राक्ष अशुद्ध होता है, जिसके कारण भविष्य में कई कष्ट उठाने पड़ सकते हैं.  तकिए के नीचे रुद्राक्ष रख कर सोने से बुरे सपने आने बंद हो जाते हैं. रुद्राक्ष का संपर्क हमारे शरीर से होना चाहिए। रुद्राक्ष के अंदर से निकलने वाली चुंबकीय ऊर्जा हमारे शरीर के सात चक्रों को प्रभावित करती है। कुछ लोग रुद्राक्ष को हाथ में धारण कर लेते हैं, जिससे उन्हें रुद्राक्ष का पूरा प्रभाव नहीं मिल पाता, इसलिए हमें हमेशा गले में रुद्राक्ष धारण करना चाहिएl इस एक मुखी रुद्राक्ष को swati एस्ट्रोलॉजी के प्रधान पुजारी द्वारा  जागृत किया हुआ है ( मेरू मणि पर स्पर्श करते हुए 'ऊं अघोरे भो त्र्यंबकम्' मंत्र का जाप करके  इसे पंचगव्य से स्नान कराके. इस के बाद गंगा स्नान कराया गया है )

Price:  Rs 5100 Rs 11000         Tax: 0%         HSN Code: 14049070
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